bahraich violence: यूपी के बहराइच में हिंसा जोरों पर है। दुर्गा विसर्जन के दौरान हुए दंगे थमने का नाम नहीं ले रहे हैं। बहराइच में सोमवार को भी आगजनी और तोड़फोड़ जारी रही। दंगों के बीच एक आईपीएस और यूपी पुलिस के सीनियर अधिकारी का वीडियो वायरल हो रहा है। वीडियो में आईपीएस अधिकारी हाथ में बंदूक लेकर चलते नजर आ रहे हैं। आईपीएस अधिकारी का नाम अमिताभ यश है। अमिताभ यश मूल रूप से बिहार के भोजपुर जिले के रहने वाले हैं।
कौन है अमिताभ यश IPS amitabh Yash
(amitabh yash) अमिताभ यश वर्तमान में उत्तर प्रदेश के एडीजी लॉ एंड ऑर्डर हैं। अमिताभ यश को यूपी पुलिस का एनकाउंटर स्पेशलिस्ट माना जाता है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक अमिताभ यश अब तक 150 से ज्यादा अपराधियों का खात्मा कर चुके हैं। अमिताभ यश के नाम चंबल घाटी में निर्भय गैंग और ददुआ गैंग का खात्मा करने का रिकॉर्ड भी है.
11 अप्रैल 1971 को जन्मे अमिताभ यश ने एक पुराने इंटरव्यू में बताया है कि बचपन में कई बार वो थाने में ही पढ़ाई किया करते थे। कई बार वो थाने की टेबल पर अपनी किताबें और कॉपियाँ रखकर पढ़ाई किया करते थे। इतना ही नहीं अगर उन्हें घर आने में देर हो जाती थी तो कई बार उन्हें थाने की बैरक में मिलने वाला खाना खाना पड़ता था।
अमिताभ यश कैसे बने पुलिस अधिकारी
अमिताभ यश का बचपन से ही पुलिस से जुड़ाव हो गया लेकिन हकीकत ये थी कि अमिताभ यश के पिता उन्हें पुलिस से दूर रखना चाहते थे लेकिन जब वो यूपीएससी पास करके आईपीएस बने तो उनके पिता ने उन्हें कई बारीकियां भी सिखाईं. शुरुआती पढ़ाई के बाद अमिताभ यश उच्च शिक्षा के लिए दिल्ली गए. उन्होंने दिल्ली यूनिवर्सिटी के सेंट स्टीफंस कॉलेज से ग्रेजुएशन किया. इसके बाद मास्टर डिग्री के लिए उनका चयन आईआईटी कानपुर के लिए हुआ। जहां से उन्होंने केमिस्ट्री में मास्टर डिग्री ली. इसके बाद उन्होंने साल 1996 में यूपीएससी की परीक्षा पास की और आईपीएस बन गए
12 दिन के लिए हुआ था तबादला – bahraich violence
4 सितंबर 1998 को उन्हें यूपी पुलिस में कंफर्मेशन मिला. आईपीएस बनने के बाद अमिताभ यश सबसे पहले संतकबीरनगर जिले में पुलिस अधीक्षक के पद पर तैनात हुए. 11 महीने के कार्यकाल के बाद उनका 12 दिन के लिए तबादला हुआ. इसके बाद वो हरदोई, जालौन, सहारनपुर, महाराजगंज, सीतापुर, बुलंदशहर, नोएडा और कानपुर में एसपी रहे
ददुआ डैकैत गैंग का अमिताभ यश ने किया था सफाया
इस दौरान उन्होंने बुंदेलखंड के कुख्यात डकैत ददुआ गैंग का सफाया किया था। 2017 में अमिताभ यश को एसटीएफ का आईजी बनाया गया था। इसके बाद जनवरी 2021 में वह एसटीएफ के एडीजी बने। अब जनवरी 2024 में उन्हें उत्तर प्रदेश के एडीजी कानून व्यवस्था की जिम्मेदारी दी गई है। एक बार फ़िर बहराइच वायलेंस (bahraich violence) से सुर्खियों में आए.